Blue Cross Organization की स्थापना डॉ० राजीव मिश्रा जी ने 2019 में किया ,इस संस्था के माध्यम से देश और समाज के युवाओं को रक्तदान के प्रति जागरूक करने का काम किया है ..अब डॉक्टर राजीव मिश्रा को ब्लड मैंन ऑफ इंडिया के नाम से जाने जाना लगा है . राजीव का मानना है कि सभी लोगों को अपने काम के साथ-साथ समाज को लेकर चलना चाहिए. हमें उन लोगों को उठने में और साथ चलने में मदद करनी चाहिए, जिन्हे हमारे मदद की ज़रूरत है. समाज के ज़रूरतमंद लोगों को खाना खिलाना और उनका ध्यान रखना हमारा फ़र्ज़ है.
राष्ट्रीय रक्तदाता डॉ राजीव मिश्रा जिन्होंने रक्तदान और रक्तदान के प्रति जागरूकता हेतु देश के विभिन्न राज्यों में जैसे जम्मू कश्मीर,लेह लद्दाख, पंजाब,उत्तराखंड, हरियाणा, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, बिहार,असम,नागालैंड की राजधानी कोहिमा, छत्तीसगढ़, कर्नाटक, गोवा, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, भोपाल,राजस्थान के साथ-साथ महात्मा बुद्ध की जन्मस्थली लुंबिनी में जाकर रक्तदान करके देश और समाज युवाओं को रक्तदान के प्रति जागरूक करने का काम किया है! डॉ राजीव मिश्रा सभी त्योहार जैसे दिवाली, होली, दशहरा, नवरात्रि, 15 अगस्त,26 जनवरी, गांधी जयंती, के साथ-साथ अपना जन्मदिन भी अनाथालय में ही मानते हैं
Transform fifty-thousand lives through education by 2050.
Education is empowerment. Education gives us hope. Education has the power to uplift not only individuals, but the entire world. In today’s world, good education is not always accessible to the underprivileged in our society. There is tremendous potential and talent in these children, all they need is access to good education The challenge of educating underprivileged children is daunting, but that does not and will never deter us.
“Now is the time to work as partners and build a truly global movement to ensure the Right to Food and Right to education for all and to build sustainable agriculture , food and education systems."
Speaking about the philosophy on which BLUE CROSS Organizationoperates, “Our aim is to give back to the society by uplifting the underprivileged in any way that’s possible. To give, share and strive to make their lives better is our sole aim and nothing feels more fulfilling than lifting others, and what better way to do it than kindness and support.”